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दावा-वेनेजुएला के साथ जंग की घोषणा कर सकते हैं ट्रम्प:अमेरिकी राष्ट्रपति की मांग- वेनेजुएला तेल अधिकार वापस लौटाए; तेल टैंकरों पर नाकाबंदी की

अमेरिकी ब्रॉडकास्टर टकर कार्लसन ने दावा किया है कि राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प वेनेजुएला के साथ युद्ध की घोषणा कर सकते हैं। टकर कार्लसन ने यह बात अपने ऑनलाइन शो ‘जजिंग फ्रीडम’ में कही। उनके मुताबिक, एक अमेरिकी सांसद ने उन्हें बताया कि सांसदों को ट्रम्प के संबोधन से पहले एक बंद कमरे में ब्रीफिंग दी गई थी। इस ब्रीफिंग में कहा गया कि अमेरिका और वेनेजुएला के बीच सैन्य टकराव की स्थिति बन सकती है और राष्ट्रपति इसे भाषण में सार्वजनिक कर सकते हैं। यह दावा ऐसे समय आया है, जब अमेरिका और वेनेजुएला के बीच तनाव लगातार बढ़ रहा है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने कहा कि वेनेजुएला हमारे तेल और ऊर्जा अधिकारों को वापस जिन्हें अवैध रूप से छीन लिया गया था। वेनेजुएला के तेल टैंकरों पर ट्रम्प की नाकाबंदी ट्रम्प ने वेनेजुएला पर दबाव बढ़ाते हुए प्रतिबंधित तेल टैंकरों के वेनेजुएला आने-जाने पर पूरी नाकाबंदी का आदेश दिया है। ट्रम्प ने अपने ट्रुथ सोशल प्लेटफॉर्म पर लिखा कि वेनेजुएला दक्षिण अमेरिका के इतिहास में सबसे बड़ी नौसेना घेराबंदी से घिरा हुआ है। यह घेराबंदी और बढ़ेगी, जब तक कि वेनेजुएला अमेरिका से चुराए गए तेल, जमीन और दूसरी संपत्तियों को वापस नहीं लौटाता। वेनेजुएला ने अमेरिकी कंपनियों के अधिकार छीने थे ट्रम्प का दावा है कि वेनेजुएला ने अमेरिकी कंपनियों के तेल अधिकार अवैध रूप से छीन लिए थे। दरअसल, 1976 में वेनेजुएला की सरकार ने (राष्ट्रपति कार्लोस आंद्रेस पेरेज के समय) पूरे तेल उद्योग का राष्ट्रीयकरण कर दिया। इसका मतलब था कि विदेशी तेल कंपनियां (ज्यादातर अमेरिकी, जैसे एक्सॉन, गल्फ ऑयल, मोबिल आदि) जो दशकों से वहां तेल निकाल रही थीं, उनके सभी ऑपरेशंस और संपत्तियां वेनेजुएला की नई सरकारी कंपनी पेट्रोलियोस डे वेनेजुएला (PDVSA) के पास चली गईं। यह राष्ट्रीयकरण कानूनी तरीके से हुआ और कंपनियों को मुआवजा भी दिया गया, हालांकि कुछ कंपनियां इससे खुश नहीं थीं। उस समय अमेरिकी कंपनियों ने वेनेजुएला में तेल उद्योग को विकसित करने में बड़ी भूमिका निभाई थी, इसलिए कुछ लोग इसे अभी भी अमेरिकी संपत्ति कहते हैं। वेनेजुएला ने अमेरिकी कंपनियों की संपत्तियां जब्त की थी 2007 में ह्यूगो शावेज के राष्ट्रपति काल में, वेनेजुएला ने ओरिनोको बेल्ट (भारी तेल के बड़े भंडार) के प्रोजेक्ट्स में नई नीति लागू की। सरकार ने कहा कि PDVSA को सभी प्रोजेक्ट्स में बहुमत हिस्सेदारी (मेजॉरिटी स्टेक) मिलेगी। ज्यादातर विदेशी कंपनियां (जैसे शेवरॉन, टोटल आदि) ने यह शर्त मान ली और अल्पसंख्यक हिस्सेदार बनकर काम जारी रखा, लेकिन एक्सॉनमोबिल और कोनोकोफिलिप्स जैसी अमेरिकी कंपनियों ने मना कर दिया। नतीजा यह हुआ कि उनकी संपत्तियां जबरन छीन ली गईं और वे देश से बाहर कर दिए गए। ये कंपनियां इसे अवैध मानती हैं और अंतरराष्ट्रीय आर्बिट्रेशन (मध्यस्थता) कोर्ट में केस लड़ती रहीं। वेनेजुएला की अर्थव्यवस्था तेल बेचने पर टिकी वेनेजुएला ज्यादातर पैसा तेल बेचकर ही कमाता है। इसी पैसों से वे खाना, दवाइयां और जरूरी चीजें खरीदते हैं। हालांकि उनके पास बहुत तेल है, लेकिन गलत नीतियों, अमेरिकी पाबंदियों और भ्रष्टाचार की वजह से तेल निकालने की क्षमता बहुत कम हो गई है। पहले अमेरिका उनका सबसे बड़ा ग्राहक था, लेकिन रिश्ते खराब होने के बाद अमेरिका ने खरीदना लगभग बंद कर दिया। अब वेनेजुएला का करीब 80% तेल चीन खरीदता है। थोड़ा-बहुत तेल अमेरिका और क्यूबा भी लेते हैं। अमेरिका ने वेनेजुएला को सीक्रेट ऑपरेशन की धमकी दी थी अमेरिकी अधिकारियों का कहना है कि आने वाले दिनों में वेनेजुएला के खिलाफ ऑपरेशन शुरू हो सकता है। ट्रम्प प्रशासन वेनेजुएला के राष्ट्रपति निकोलस मादुरो का तख्तापलट भी करवा सकता है। यह जानकारी न्यूज एजेंसी रॉयटर्स ने अमेरिकी अधिकारियों के हवाले से दी। अमेरिकी अधिकारियों के मुताबिक शुरुआत सीक्रेट ऑपरेशन से हो सकती है। हाल के हफ्तों में अमेरिकी सेना ने कैरेबियाई इलाके में बड़ी संख्या में जहाज, विमान और सैनिक तैनात किए हैं, जिससे दोनों देशों के बीच टकराव की आशंका बढ़ गई है। वेनेजुएला के पास वॅारशिप तैनात किए अमेरिकी रक्षा मंत्रालय के एक अधिकारी के मुताबिक, USS ग्रेवली, USS जेसन डनहम और USS सैम्पसन नाम के तीन एजिस गाइडेड-मिसाइल डेस्ट्रॉयर वॅारशिप वेनेजुएला के तट पर तैनात हैं। तीनों वॅारशिप हवा, समुद्र, और पनडुब्बी हमलों से रक्षा करने में माहिर है। इनके साथ 4,000 सैनिक, P-8A पोसाइडन विमान और एक हमलावर पनडुब्बी भी शामिल है।

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